Thursday, September 24, 2015

/// नज़्म : दुनिया, तुम और मैं !!! ///

/// नज़्म : दुनिया, तुम और मैं !!! ///

दुनिया भर घूम आते हो !
दुनिया को जी भर कर देखते हो !!
दुनिया से बाते करते रहते हो ....!!!

.......कभी उस मोड़ पर भी चले आओ.....जहाँ हम खड़े है ,
……….कभी हमें भी जी भर कर देख लो …….आँखे तुम्हारा इन्तजार करती रहती है ;
………कभी कोई एक लफ्ज़ हमारे नाम कर दो .......मन तुम्हे सुनने को तरसते रहताा है !

और फिर..... दुनिया के पास वो निगाहें कहाँ जो हमारे पास है !
और दुनिया के पास वो अलफ़ाज़ कहाँ जो हमारे दिल में है !
और इस फानी दुनिया के पास वो आगोश कहाँ जो हमारे बांहों में है !

all you have to remember that YOU live only once ....!

या तो इस तरह जी लो या फिर उस तरह ही जी जाओ , जो जी रहे हो .
फर्क बहुत मामूली है , उस जहान में मैं नहीं और इस जहान में मेरे सिवा कुछ भी नहीं ..!!!

© विजय

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